डेली संवाद, जालंधर। PIMS: पंजाब में बारिश चाहे थम गई हैं। पंजाब के कई गांव बाढ़ की चपेट में आए हैं। लोगों का जानी माली काफी नुकसान हुआ है। बारिश थमने के बाद बचाव कार्य तेज हो गया है। जैसे-जैसे पानी उतर रहा है । लोग बिमारियों की चपेट में आ रहे हैं। इसी के चलते पंजाब इंस्टीच्यूट आफ मेडिकल साइंसिस (पिम्स) ने भी लोगों के स्वास्थ्य को लेकर कमर कसी हुई है।
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लोहिया से छह किलोमीटर दूर गांव किलीवाड़ा औऱ मुंडी चोलिया में पिम्स की ओर से मेडिकल कैंप लगाया गया। कैंप में मरीजों को बीपी, मुफ्त शूगर टेस्ट किए गए और दवाइयां दी गई। पिम्स की ओर से डा. तरुणदीप सिंह ने अपनी सेवाएं दी। उन्होंने बताया कि अकसर ऐसी आपदा के बाद लोग कई प्रकार की बिमारियों की चपेट में आ जाते हैं। जैसे कि डायरिया,चर्म रोग डेंगू।
पिम्स के रेजिडेंट डायरेक्टर अमित सिंह ने कहा कि इस कुदरती आपदा में हमारा फर्ज बनता है कि हम हर उस व्यक्ति की सहायता करें जोकि आपदा प्रभावित है। हम अपने सामर्थ्य के मुताबिक हर जरूरतमंद तक स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया करवाने की कोशिश कर रहे हैं। पंजाब के हर उस बाशिंदे के साथ पिम्स कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा, जिसको पिम्स की सेवाओं की आवश्यकता है।
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पिम्स सेवा में विश्वास रखता है और यह विश्वास हमारे मरीजों का हम पर कायम है और हम बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में ज्यादा से ज्यादा सेवाएं पहुंचाने में संकल्पबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि पिम्स हमेशा से ही लोगों को अच्छी स्वास्थ्य सुविधाएं देने में आगे है। कोरोना काल के दौरान भी पिम्स ने प्रशासन के साथ मिलकर काम किया। उन्होंने कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि भविष्य पिम्स इसी प्रकार अपनी सेवाएं देता रहेगा।