डेली संवाद, चंडीगढ़
‘‘राज्य का मज़दूर वर्ग इसकी आर्थिकता की रीढ़ की हड्डी है जिसको मुख्य रखते हुए इस वर्ग का कल्याण सरकार की प्राथमिकतों में से एक है और इस वर्ग की ख़ुशहाली यकीनी बनाने के लिए सरकार की तरफ से कोई कसर बाकी नहीं छोड़ी जायेगी और सरकार के दरवाज़े इनके लिए हमेशा खुले रहेंगे।’’
यह विचार आज यहाँ सैक्टर-39 में स्थित अनाज भवन में मज़दूर यूनियन के प्रतिनिधियों के साथ बातचीत करते हुए पंजाब के ख़ाद्य, सिविल सप्लाई, उपभोक्ता मामले और वन मंत्री श्री लाल चंद कटारूचक्क ने प्रकट किये। इस मौके पर मज़दूर यूनियनों के प्रतिनिधियों की तरफ से यह माँग की गई कि ठेकेदारी प्रणाली से मज़दूर वर्ग को राहत देते हुए इस प्रणाली को ख़त्म करके रकम सीधा मज़दूरों को ही दी जाये जिससे उनका जीवन स्तर ऊँचा उठ सके।
केंद्र सरकार को पत्र लिख चुके हैं
इसके जवाब में श्री लाल चंद कटारूचक्क ने पूरी हमदर्दी से इस मसले पर गौर करने का भरोसा दिया। उन्होंने यह भी कहा कि जहाँ तक मज़दूरों को दिए जाते मूल रेटों के संशोधन का सवाल है तो इस सम्बन्धी वह केंद्र सरकार को पत्र लिख चुके हैं और ख़ुद भी जल्द ही निजी तौर पर केंद्र सरकार के साथ इस सम्बन्धी सम्पर्क करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि यह वर्ग राज्य की आर्थिकता की रीढ़ की हड्डी है, इसलिए मज़दूरों के काम करने के हालत को और बेहतर बनाने के लिए सरकार की तरफ से भरपूर कोशिश की जायेगी।
इस मौके पर डायरैक्टर ख़ाद्य, सिविल सप्लाई और उपभोक्ता मामले श्री अभिनव त्रिखा, फूड हैंडलिंग वर्करज़ यूनियन, पंजाब (मोगा) के प्रधान और पूर्व संसद मैंबर श्री केवल सिंह, श्री खुशी मुहम्मद, आढ़तिया एसोसिएशन आफ पंजाब के प्रधान रवीन्द्र सिंह चीमा और जनरल सचिव जसविन्दर सिंह राणा भी हाज़िर थे।
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