अशोक सिंह भारत
डेली संवाद, नई दिल्ली
समता पार्टी के संस्थापक और देश के पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडिस का मंगलवार सुबह 7 बजे से 88 वर्ष की उम्र में निधन हो गया. जॉर्ज फर्नांडिस पिछले कुछ दिनों से वह स्वाइन फ्लू से पीड़ित थे और दिल्ली के एक अस्पताल में भर्ती थे।
लंबी समय से बीमार होने की वजह से ही वह सार्वजनिक जीवन से दूर थे. अपने लंबे राजनीतिक करियर में उन्होंने रक्षा, उद्योग मंत्रालय का जिम्मा संभाला था. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद समेत कई बड़ी हस्तियों ने उनके निधन पर दुख व्यक्त किया।
राष्ट्रपति-PM ने जताया दुख
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी जॉर्ज फर्नांडिस के निधन पर शोक व्यक्त किया. उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि जॉर्ज साहब ने भारत के बेस्ट राजनीतिक लीडरशिप की अगुवाई की, उनका योगदान काफी अहम रहा है. प्रधानमंत्री के अलावा राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भी जॉर्ज फर्नांडिस के निधन पर शोक व्यक्त किया।
During his long years in public life, George Sahab never deviated from his political ideology. He resisted the Emergency tooth and nail. His simplicity and humility were noteworthy. My thoughts are with his family, friends and lakhs of people grieving. May his soul rest in peace.
— Narendra Modi (@narendramodi) January 29, 2019
यादगार रहा राजनीतिक सफर
पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडिस का भारतीय राजनीति में ऐतिहासिक योगदान रहा है, फिर चाहे वह रक्षा क्षेत्र में उठाए गए बड़े फैसले हो या फिर इमरजेंसी के दौरान अपनी आवाज उठाने का मुद्दा रहा हो, जॉर्ज फर्नांडिस ने हमेशा ही आगे बढ़कर नेतृत्व किया।
पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडिस की अगुवाई में 1974 में हुई रेलवे हड़ताल को सबसे बड़ी हड़ताल के रूप में देखा जाता है. उस दौरान वह ऑल इंडिया रेलवेमैन फेडरेशन के प्रमुख थे, जॉर्ज की अगुवाई में हुई उस हड़ताल ने केंद्र सरकार की नींद उड़ा दी थी।
केंद्र सरकार में कई पदों पर रहे
इमरजेंसी के दौरान जॉर्ज फर्नांडिस काफी एक्टिव रहे थे, आपातकाल हटने के बाद वह राजनीति में कूदे और चुनाव लड़ा. उन्होंने जेल में रहते हुए ही बिहार के मुजफ्फरपुर से चुनाव लड़ा और जीते भी. केंद्र में जब मोरारजी देसाई की अगुवाई में सरकार बनी तो उन्हें मंत्री पद भी दिया गया. इसके बाद वीपी सिंह की सरकार में वह रेल मंत्री भी रहे।
NDA के संकटमोचक
अटल बिहारी वाजपेयी की अगुवाई में जब राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की सरकार बनी तो जॉर्ज फर्नांडिस को रक्षा मंत्री का पद दिया गया. उन्होंने NDA के संयोजक के रूप में भी अहम भूमिका निभाई, बताया जाता है कि उस दौरान अगर NDA में कोई रुठता तो उन्हें मनाने का काम जॉर्ज फर्नांडिस के जिम्मे ही रहता था.
नौ बार सांसद चुने गए
3 जून 1930 को मैंगलोर में पैदा हुए जॉर्ज फर्नांडिस नौ बार लोकसभा के सांसद रहे. अपने संसदीय जीवन में वह संसद की कई कमेटियों का हिस्सा रहे, सरकारों में कई पदों पर भी रहे. देश में जब आपातकाल था तब जार्ज फर्नांडिस पगड़ी बांध और दाढ़ी रख कर सिख भेष में घूमा करते थे. कहा जाता है कि जब उन्होंने गिरफ्तारी दी थी तब वह जेल में गीता के श्लोक सुनाते थे।
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